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JAC Board Jharkhand Class 10th Science Physics Solutions chapter - 3- विद्युत

JAC Board Jharkhand Class 10th Science Physics Solutions chapter - 3- विद्युत

                     भौतकी 

                     विद्युत

 बहुविकल्पीय प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1. विद्युत आवेश का St मात्रक है-
(a) वोल्ट,

(b) ओम,

(c) कूलॉम,

(d) ऐम्पियर ।
                   उत्तर–(c)

प्रश्न 2. विद्युत धारा का SI मात्रक है-
(a) वोल्ट,

(b) ओम,

(c) कूलॉम,

(d) ऐम्पियर
                  उत्तर–(d)

प्रश्न 3. विभव का SI मात्रक है-
(a) वोल्ट,

(b) ओम,

(c) कूलॉम,

(d) ऐम्पियर
                उत्तर–(a)

प्रश्न 4. विभवांतर का SI मात्रक है-
(a) वोल्ट,

(b) ओम,

(c) कूलॉम,

(d) ऐम्पियर
                उत्तर–(a)

प्रश्न 5. प्रतिरोध का SI मात्रक है-
(a) वोल्ट,

(b) ओम,

(c) कूलॉम,

(d) ऐम्पियर ।
                    उत्तर–(b)

प्रश्न 6. विशिष्ट प्रतिरोध ( प्रतिरोधकता) का SI मात्रक है-
(a) ओम⁻¹ मीटर⁻¹,

(b) ओम⁻¹ मीटर,

(c) ओम मीटर⁻¹ ,

(d) ओम मीटर।
                       उत्तर–(d)

प्रश्न 7. विद्युत शक्ति का SI मात्रक है-
(a) जूल,

(b) वाट,

(c) कूलॉम,

(d) ओम ।
               उत्तर–(b)

प्रश्न 8. निम्न में कौन-सा मात्रक वाट (W) के बराबर है ?
(a) J/S,

(b) J.S,

(c) S/J,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(a)

प्रश्न 9. ओम मात्रक है-
(a) ऊर्जा का,

(b) प्रतिरोध का,

(c) धारा का,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(b)

प्रश्न 10. विद्युत ऊर्जा का व्यापारिक मात्रक है-
(a) किलोवाट घंटा,

(b) वाट घंटा,

(c) वाट,

(d) जूल।
            उत्तर-(a)

प्रश्न 11. किलोवाट घंटा (kWh) किस राशि का मात्रक है-
(a) विद्युत ऊर्जा,

(b) विद्युत शक्ति,

(c) विद्युत धारा,

(d) प्रतिरोध ।
                   उत्तर - (a)

प्रश्न 12. विद्युत परिपथ की शक्ति होती है-
(a) V.R

(b) V².R

(c) V²/R

(d) V².R.I
               उत्तर-(c)

प्रश्न 13. V/l का अनुपात कहलाता है-
(a) प्रतिरोध,

(b) चालकता,

(c) विभव,

(d) विभवांतर।
                   उत्तर- (a)

प्रश्न 14. विभवांतर मापने वाले यंत्र को क्या कहते हैं ?
(a) ऐमीटर,

(b) वोल्टमीटर,

(c) गैल्वेनोमीटर,

(d) इनमें कोई नहीं।
                          उत्तर-(b)

प्रश्न 15. विद्युत धारा मापने वाले यंत्र को क्या कहते हैं ?
(a) ऐमीटर,

(b) वोल्टमीटर,

(c) गैल्वेनोमीटर,

(d) इनमें कोई नहीं।
                          उत्तर- (a)

प्रश्न 16. एक कूलॉम आवेश कितने इलेक्ट्रॉनों के आवेश के तुल्य होता है ?
(a) 6 x 10¹⁸ इलेक्ट्रॉन,

(b) 1.6 x 10⁻¹⁹ इलेक्ट्रॉन,

(c) 2 x 10¹⁹,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर–(a)

प्रश्न 17. प्रत्येक इलेक्ट्रॉन पर कितना कूलम्ब ऋण आवेश होता है ?
(a) 1.6 ⨯ 10⁻²³ C,

(b) 1.6 ⨯ 10⁻¹⁹ C,

(c) 6.023 ⨯ 10⁻¹⁹ C,

(d) 6.023 ⨯ 10⁻²³ C.
                                उत्तर–(b)

प्रश्न 18. निम्न में से किसे परिपथ में समांतर क्रम में जोड़ा जाता है ?
(a) ऐमीटर,

(b) गैल्वेनोमीटर,

(c) वोल्टमीटर,

(d) मैनोमीटर ।
                    उत्तर–(c)

प्रश्न 19. विद्युत परिपथ में एमीटर को किस क्रम में जोड़ा जाता है ?
(a) श्रेणीक्रम,

(b) पार्श्वक्रम,

(c) (a) और (b) दोनों,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(a)

प्रश्न 20. विद्युत परिपथ में वोल्टमीटर को किस क्रम में जोड़ा जाता है ?
(a) श्रेणीक्रम,

(b) पार्श्वक्रम,

(c) (a) और (b) दोनों,

(d) इनमें कोई नहीं।
                          उत्तर-(b)

प्रश्न 21. किसी विद्युत परिपथ में दो बिन्दुओं के बीच विभवान्तर मापने के लिए वोल्टमीटर को किस प्रकार संयोजित किया जाता है ?
(a) श्रेणीक्रम,

(b) समान्तर क्रम,

(c) (a) और (b) दोनों,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(b)

प्रश्न 22. उस युक्ति का नाम लिखें जो किसी चालक के सिरों पर विभवांतर बनाए रखने में सहायता करती है।
(a) बैटरी,

(b) ऐमीटर,

(c) वोल्टमीटर,

(d) गैल्वेनोमीटर ।
                        उत्तर–(a)

प्रश्न 23. एक किलोवाट घंटा (1 kWh) किसके बराबर होता है ?
(a) 3.6 x 10⁶ J,

(b) 1.6 x 10⁻¹⁹ J,

(c) 0.36 x 10¹⁰ J,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर–(a)

प्रश्न 24. जूल प्रति कूलॉम को क्या कहते हैं ?
(a) वोल्ट,

 (b) वाट,

(c) ऐम्पीयर,

(d) इनमें कोई नहीं।
                          उत्तर–(a)

प्रश्न 25. विद्युत धारा द्वारा प्रदत्त ऊर्जा की दर का निर्धारण कैसे किया जाता है ?
(a) विद्युत शक्ति,

(b) विद्युत ऊर्जा,

(c) प्रतिरोधकता,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(a)

प्रश्न 26. विद्युत बल्ब का तंतु बना होता है-
(a) लोहे का,

(b) ताँबा का,

(c) टंगस्टन का,

(d) एल्युमिनियम का।
                             उत्तर-(c)

प्रश्न 27. ओम के नियम का सूत्र है-
(a) V = W/Q

(b) P = VI,

(c) V = I × R,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(c)

प्रश्न 28. विद्युत हीटर में जिस पदार्थ का उपयोग किया जाता है, वह है-
(a) ताँबा,

(b) प्लेटिनम,

(c) टंगस्टन,

(d) नाइक्रोम |
                   उत्तर–(d)

प्रश्न 29. जब ताप में वृद्धि होती है, तो किसी चालक का प्रतिरोध-
(a) बढ़ जाता है।

(b) घट जाता है।

(c) रिथर रहता है।

(d) चालक पर निर्भर करता है।
                                         उत्तर-(a)

प्रश्न 30. जब किसी चालक तार से विद्युत धारा प्रवाहित होती है, तो गतिशील कण है-
(a) परमाणु,

(b) आयन,

(c) प्रोटॉन,

(d) इलेक्ट्रॉन ।
                     उत्तर-(d)

प्रश्न 31. फ्यूज को विद्युत परिपथ में किस क्रम में जोड़ा जाता है ?
(a) श्रेणीक्रम,

(b) पार्श्वक्रम,

(c) (a) और (b) दोनों,

(d) इनमें कोई नहीं।
                          उत्तर-(a)

प्रश्न 32. निम्न में से कौन-सा पद विद्युत परिपथ में विद्युत शक्ति को निरूपित नहीं करता ?
(a) I²R,

(b) IR²,

(c) VI,

(d) V²/R
              उत्तर-(b)

प्रश्न 33. चालक के सिरों पर विभवांतर बढ़ने से धारा की प्रबलता पर क्या प्रभाव पड़ता है ?
(a) बढ़ती है।

(b) घटती है।

(c) समान रहती है।

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(a)

प्रश्न 34. ओम का नियम-
(a) चालकों पर लागू होता है।

(b) अर्धचालकों पर लागू नहीं होता है।

(c) विद्युत अपघट्यों पर लागू होता है।

(d) निर्वात नलिकाओं पर लागू होता है।
                                                    उत्तर-(a)

प्रश्न 35. किसी चालक का प्रतिरोध निम्न में किस पर निर्भर करता है–
(a) चालक की लंबाई पर।

(b) चालक के अनुप्रस्थ काट के क्षेत्रफल पर।

(c) चालक के पदार्थ की प्रकृति पर।

(d) इनमें सभी।
                     उत्तर-(d)

प्रश्न 36. जब तीन प्रतिरोध R₁, R₂, R₃ श्रेणीक्रम में जोड़ते हैं तो तुल्य प्रतिरोध को प्रदर्शित करने के लिए सूत्र होगा-
(a) Rs = R₁ + R₂ + R₃,

(b) Rs = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃

(c) 1/Rs = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃,

(d) इनमें कोई नहीं।
                            उत्तर-(a)

प्रश्न 37. जब तीन प्रतिरोध R₁, R₂, R₃, पार्श्वक्रम में जोड़ते हैं तो तुल्य प्रतिरोध को प्रदर्शित करने के लिए सूत्र होगा-
(a) Rp = R₁ + R₂ + R₃,

(b) Rp = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃,

(c) 1/Rp = 1/R₁ + 1/R₂  + R₃,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर-(c)

प्रश्न 38. यदि R₁ और R₂ प्रतिरोध पार्श्वबद्ध हो तो उनका समतुल्य प्रतिरोध होता है-
(a) R = R₁R₂/ R₁ + R₂,

(b) R = R₁ – R₂,

(c) R = 1/R₁ + 1/R₂,

(d) R = R₁ + R₂.
                          उत्तर–(a)

प्रश्न 39. घरेलू विद्युत परिपथों में किस संयोजन का उपयोग नहीं किया जाता है ?
(a) श्रेणीक्रम संयोजन,

(b) पार्श्वक्रम संयोजन,

(c) मिश्रित संयोजन,

(d) इनमें कोई नहीं।
                            उत्तर–(a)

प्रश्न 40. निम्न में कौन संबंध सही है ?
(a) 1A = 10³ mA,

(b) 1A = 10⁶ mA,

(c) 1A = 10⁻³ mA,

(d) 1A = 10⁻⁶ mA.
                               उत्तर–(a)

प्रश्न 41. एक इलेक्ट्रॉन पर कितना आवेश होता है-
(a) e = 1.6 x 10⁻¹⁶ C, 

(b) e = 1.6 x 10⁻¹⁷ C,

(c) e = 1.6 x 10⁻¹⁸ C,

(d) e = 1.6 x 10⁻¹⁹ C.
                                  उत्तर–(d)

प्रश्न 42. धारावाही चालक के अंदर इलेक्ट्रॉन की गति होती है-
(a) समरूप,

(b) त्वरित,

(c) एकरूप औसत,

(d) अवमंदित।
                    उत्तर–(c)

प्रश्न 43. प्रतिरोध के लिए निम्न में कौन संबंध सही है ?
(a) R = ρΑ/L,

(b) R = ρL,

(c) R = ρ.A.L,

(d) R = ρL²/A.
                        उत्तर–(b)

प्रश्न 44. एक तार का विशिष्ट प्रतिरोध निर्भर करता है इसके-
(a) लम्बाई पर,

(b) अनुप्रस्थ काट के व्यास पर,

(c) द्रव्यमान पर,

(d) पदार्थ की प्रकृति पर
                                  उत्तर–(d)

प्रश्न 45. निम्न में किस संयोजन द्वारा प्रतिरोध का मान बढ़ता है ?
(a) श्रेणीक्रम,

(b) पार्श्वक्रम,

(c) श्रेणी एवं पार्श्व दोनों,

(d) इनमें कोई नहीं।
                           उत्तर–(a)

* रिक्त स्थानों की पूर्ति करें-

प्रश्न 1. ऐमीटर को विद्युत परिपथ में..........में जोड़ा जाता है।
उत्तर- श्रेणीक्रम

प्रश्न 2. वोल्टमीटर को विद्युत परिपथ में.........में जोड़ा जाता है।
उत्तर- पार्श्वक्रम

प्रश्न 3. प्रतिरोधकता का SI मात्रक........... है।
उत्तर - ओम मीटर

प्रश्न 4. आवेश का SI मात्रक........... है।
उत्तर- कूलॉम

प्रश्न 5. दो बिन्दुओं के बीच विभव के अंतर को........कहते हैं।
उत्तर- विभवांतर

प्रश्न 6. जूल प्रति कूलॉम को...........कहते हैं।
उत्तर- वोल्ट

प्रश्न 7. विद्युत धारा मापने के यंत्र को...........कहते हैं।
उत्तर- ऐमीटर

प्रश्न 8. विभवांतर मापने के यंत्र को...........कहते हैं।
उत्तर- वोल्टमीटर

प्रश्न 9. विद्युत बल्ब का फिलामेंट............का बना होता है।
उत्तर- टंगस्टन

प्रश्न 10. विद्युत शक्ति का SI मात्रक..........होता है।
उत्तर- वाट

अतिलघु उत्तरीय प्रश्नोत्त 

प्रश्न 1. विद्युत आवेश का SI मात्रक क्या है ?
उत्तर- कूलॉम ।

प्रश्न 2. विद्युत धारा का मात्रक क्या है ?
उत्तर- ऐम्पियर ।

प्रश्न 3. कूलॉम किस राशि का मात्रक है ?
उत्तर- आवेश का ।

प्रश्न 4. विभव का मात्रक क्या है ?
उत्तर- वोल्ट ।

प्रश्न 5. विभवान्तर का SI मात्रक क्या है ?
उत्तर- वोल्ट ।

प्रश्न 6. प्रतिरोध का मात्रक क्या है ?
उत्तर- ओम (Ω)।

प्रश्न 7. प्रतिरोधकता (विशिष्ट प्रतिरोध) का SI मात्रक लिखें ।
उत्तर - मात्रक - Ωm. (ओम-मीटर)

प्रश्न 8. किलोवाट घंटा (KWh) किस राशि का मात्रक है ?
उत्तर- विद्युत ऊर्जा का व्यावसायिक मात्रक ।

प्रश्न 9. ओम किस राशि का मात्रक है ?
उत्तर- प्रतिरोध।

प्रश्न 10. वोल्ट / ऐम्पियर किसका मात्रक है ?
उत्तर- प्रतिरोध ।

प्रश्न 11. 'ओम × मीटर में किसकी माप की जाती है ?
उत्तर- प्रतिरोधकता।

प्रश्न 12. विद्युत शक्ति का SI मात्रक क्या होता है ?
उत्तर- वाट ।

प्रश्न 13. विद्युत ऊर्जा का व्यापारिक मात्रक क्या है ?
उत्तर- किलोवाट घंटा (KWh).

प्रश्न 14. प्रतीक KWh का अर्थ क्या है ?
उत्तर- किलोवाट घंटा ।

प्रश्न 15. एक किलोवाट-घंटा (KWh) में कितने जूल होते हैं ?
उत्तर- 1Kwh = 3.6 x 10⁶ जूल।

प्रश्न 16. एक इलेक्ट्रॉन का आवेश कितने कूलॉम के तुल्य होता है ?
उत्तर- 1 इलेक्ट्रॉन का आवेश = 1.6 x 10⁻¹⁹ कूलॉम ।

प्रश्न 17. एक कूलॉम आवेश कितने इलेक्ट्रॉनों के आवेश के तुल्य होता है ?
उत्तर-1 कूलॉम आवेश = 6 x 10¹⁸ इलेक्ट्रॉन

प्रश्न 18. विद्युत धारा मापने वाले यंत्र को क्या कहते हैं ?
उत्तर- ऐमीटर ।

प्रश्न 19. विभवान्तर मापने वाले यंत्र को क्या कहते हैं ?
उत्तर- वोल्टमीटर ।

प्रश्न 20. विद्युत परिपथ में ऐमीटर को किस क्रम में जोड़ा जाता है ?
उत्तर- श्रेणीक्रम ।

प्रश्न 21. विद्युत परिपथ में वोल्टमीटर को किस क्रम में जोड़ा जाता है ?
उत्तर- समांतर क्रम में।

प्रश्न 22. उस युक्ति का नाम लिखें जो किसी चालक के सिरों पर विभवांतर बनाए रखने में सहायता करती है।
उत्तर- सेलों से बनी बैटरी।

प्रश्न 23. उस सूत्र को लिखें जो विद्युत आवेश, समय एवं विद्युत धारा से संबंधित है।
उत्तर- Q = I × t.

प्रश्न 24. उस भौतिक राशि का नाम क्या है जो के बराबर है ?
उत्तर- प्रतिरोध।

प्रश्न 25. धारा को नियंत्रण करने वाले अवयवों के नाम लिखें तथा इसे संकेत द्वारा दर्शाएँ।
उत्तर- परिवर्ती प्रतिरोध-    


या, धारा नियंत्रक-         


प्रश्न 26. किसी चालक की प्रतिरोधकता का संकेत तथा मात्रक लिखें।
उत्तर- संकेत - ρ (रो).

मात्रक- Ωm.

प्रश्न 27. जूल प्रति कूलॉम को क्या कहते हैं ?
उत्तर- वोल्ट ।

प्रश्न 28. विद्युत बल्ब का फिलामेंट किस धातु से बना होता है ?
उत्तर- टंगस्टन।

प्रश्न 29. विद्युत हीटर का तापीय अवयव किस पदार्थ का बना होता है ?
उत्तर- नाइक्रोम मिश्रधातु का।

प्रश्न 30. किसी विद्युत परिपथ में दो बिन्दुओं के बीच विभवान्तर मापने के लिए वोल्टमीटर को किस प्रकार संयोजित किया जाता है ?
उत्तर- समान्तर क्रम ।

प्रश्न 31. उस युक्ति का नाम बताएँ जो कि प्रायः विद्युत परिपथ में प्रतिरोध को परिवर्तित करने के लिए प्रयुक्त होती है।
उत्तर- परिवर्ती प्रतिरोधक।

प्रश्न 32. 'R' प्रतिरोध तथा I धारा वाले तार में उत्पन्न ऊष्मा के लिए सूत्र लिखें।
उत्तर- ऊष्मा H = I²Rt.

प्रश्न 33. 1 वोल्ट =......../1 कूलॉम
उत्तर- 1 जूल

प्रश्न 34. 1 ओम......../1 ऐम्पियर
उत्तर-1 वोल्ट

प्रश्न 35. विभवान्तर (v), धारा (I) तथा प्रतिरोध (R) के बीच संबंध लिखें। यह संबंध किस नियम पर आधारित है ?
उत्तर- V = IR.
यह संबंध ओम के नियम पर आधारित है।

प्रश्न 36. विद्युत धारा द्वारा प्रदत्त ऊर्जा की दर का निर्धारण कैसे किया जाता है ?
उत्तर- विद्युत शक्ति द्वारा।

प्रश्न 37. विद्युत हीटर में विद्युत धारा का कौन-सा प्रभाव प्रयुक्त होता है ?
उत्तर- तापीय प्रभाव ।

प्रश्न 38. तापदीप्त लैप का टंगस्टन तंतु किस ताप पर कार्य करता है ?
उत्तर- 3380°C.

लघु उत्तरीय प्रश्नोत्त 

प्रश्न 1. विद्युत आवेश किसे कहते है ? विद्युत आवेश कितने प्रकार के होते हैं ?
उत्तर- वह आन्तरिक कारक जो पदार्थों में आकर्षण का गुण उत्पन्न कर देता है। विद्युत आवेश कहलाता है। जब एक पदार्थ को दूसरे पदार्थ से रगड़ा जाता है तो दोनों पदार्थों पर विद्युत आवेश उत्पन्न होते हैं।
आवेश दो प्रकार के होते हैं--
(i) धन आवेश,

(ii) ऋण आवेश ।

प्रश्न 2. विद्युत आवेश के दो महत्वपूर्ण गुणों को लिखें।
उत्तर- विद्युत आवेश के गुण-
(i) सजातीय आवेश एक-दूसरे को प्रतिकर्षित करते हैं,

(ii) विजातीय आवेश एक-दूसरे को आकर्षित करते हैं।

प्रश्न 3. विद्युत धारा को परिभाषित करें। इसका SI मात्रक लिखें।
उत्तर- विद्युत आवेश के प्रवाह की दर अर्थात एकांक समय में प्रवाहित होने वाले विद्युत आवेश के परिमाण को विद्युत धारा कहते हैं।
I = Q/t  इसका SI मात्रक ऐम्पियर है।

प्रश्न 4. विद्युत धारा के मात्रक की परिभाषा लिखें।
उत्तर- विद्युत धारा का मात्रक ऐम्पियर है। यदि परिपथ के किसी बिंदु से प्रति सेकंड एक कूलॉम आवेश संचरित हो रहा हो तो उस धारा को एक ऐम्पियर कहते हैं।
1A = 1C/1S

प्रश्न 5. विद्युत परिपथ किसे कहते हैं ? विद्युत सेल, विद्युत बल्ब, ऐमीटर एवं स्विच को दर्शाते हुए एक विद्युत परिपथ का आरेख बनाएँ।
उत्तर- किसी विद्युत धारा के सतत तथा बंद पथ को विद्युत परिपथ कहते हैं।


प्रश्न 6. रिवच क्या कार्य करता है ?
उत्तर- रिवच सेल तथा बल्ब के बीच चालक संबंध जोड़ता तथा विच्छेद करता है।

प्रश्न 7. एक कूलॉम आवेश की रचना करने वाले इलेक्ट्रॉनों की संख्या परिकलित करें।
उत्तर- एक इलेक्ट्रॉन पर आवेश 1.6 × 10⁻¹⁹

अतः 1 कूलॉम आवेश में उपस्थित इलेक्ट्रॉन की संख्या n

n = Q/e = 1C/1.6×10⁻¹⁹ = 100/16 ⨯ 10¹⁸

n = 6.25 ⨯ 10¹⁸ Ans.

प्रश्न 8. विभव एवं विभवान्तर में अन्तर बताएँ।
उत्तर- विभव- इकाई धन-आवेश को अनन्त से विद्युत क्षेत्र के किसी बिन्दु तक लाने में किया गया कार्य विभव कहलाता है। इसका SI मात्रक वोल्ट (V) है।

विभवान्तर- इकाई धन आवेश को विद्युत क्षेत्र में एक बिंदु से दूसरे बिंदु तक ले जाने में जितना कार्य होता है उसे विभवान्तर कहते हैं। इसका भी SI मात्रक वोल्ट है।

प्रश्न 9. यह कहने का क्या तात्पर्य है कि दो बिंदुओं के बीच विभवांतर 1 V है ?
उत्तर- इसका अर्थ यह है कि किसी धारावाही चालक के दो बिंदुओं के बीच 1 कूलॉम आवेश को एक बिंदु से दूसरे बिंदु तक ले जाने में 1 जूल कार्य किया जाता है।
अर्थात्, 1 वोल्ट = 1 जूल/1 कूलॉम

प्रश्न 10. परिपथ में ऐमीटर को श्रेणीक्रम एवं वोल्टमीटर को पार्श्वक्रम में क्यों जोड़ा जाता है ?
उत्तर- ऐमीटर को श्रेणीक्रम में इसलिए जोड़ा जाता है, क्योंकि परिपथ की पूरी धारा इससे प्रवाहित हो। वोल्टमीटर को पार्श्वक्रम में इसलिए जोड़ा जाता है, क्योंकि परिपथ की धारा में अल्प अथवा नगण्य कमी उत्पन्न करता है।

प्रश्न 11. ओम के नियम को लिखकर व्याख्या करें।
उत्तर- नियत ताप पर किसी चालक के सिरों के बीच का विभवान्तर उसमें प्रवाहित धारा का समानुपाती होता है।
अर्थात्    V∞I

⇒ V = IR           (जहाँ R = नियतांक)

⇒ I = V/R

प्रश्न 12. ओम को परिभाषित करें।
उत्तर- ओम उस चालक का प्रतिरोध है जिसके सिरों के बीच 1 वोल्ट का विभवान्तर होने पर उससे 1 ऐम्पियर विद्युत धारा प्रवाहित होती है।

प्रश्न 13. ओम का नियम में ताप को अचर रखा जाता है, क्यों ?
उत्तर- ताप के बदलने से प्रतिरोध का मान बदल जाता है, जिससे धारा का सही-सही मान नहीं प्राप्त होता है, अर्थात् एक साथ कई मान बदल जाता है। इसलिए
तापक्रम को अचर रखा जाता है।

प्रश्न 14. ऐमीटर और वोल्टमीटर में अंतर बताएँ।
उत्तर- ऐमीटर और वोल्टमीटर में अंतर-
ऐमीटर
(a) यह विद्युत परिपथ में धारा की प्रबलता को मापता है।

(b) इसे श्रेणीक्रम में जोड़ा जाता है।

(c) इसका स्केल ऐम्पियर में अंकित रहता है।

वोल्टमीटर
(a) यह विद्युत परिपथों में किन्हीं दो बिन्दुओं के बीच विभवांतर को मापता है।

(b) इसे पार्श्वक्रम में जोड़ा जाता है।

(c) इसका स्केल वोल्ट में अंकित रहता है।

प्रश्न 15. प्रतिरोध क्या है ? किसी चालक का प्रतिरोध किन कारकों पर निर्भर करता है?
उत्तर- प्रतिरोध पदार्थ का वह गुण है जो धारा के प्रवाह में रुकावट डालता है। इसका SI मात्रक ओम है।
किसी चालक का प्रतिरोध निम्नांकित बातों पर निर्भर करता है-
(i) चालक की लंबाई,

(ii) उसके अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल,

(iii) उसके पदार्थ की प्रकृति पर ।

प्रश्न 16. चालक का प्रतिरोध चालक की लंबाई एवं चालक के अनुप्रस्थ क्षेत्रफल पर किस प्रकार निर्भर करता है ?
उत्तर- चालक का प्रतिरोध उस चालक के लंबाई का सीधा समानुपाती होता है। अर्थात् चालक की लंबाई बढ़ने पर उसका प्रतिरोध बढ़ता है। जबकि चालक का प्रतिरोध उसके अनुप्रस्थ परिच्छेद के क्षेत्रफल का व्युत्क्रमानुपाती होता है। अर्थात् चालक के अनुप्रस्थ परिच्छेद के क्षेत्रफल बढ़ने पर उस चालक का प्रतिरोध घटता है।

प्रश्न 17. परिवर्ती प्रतिरोध किसे कहते हैं ?
उत्तर- स्रोत की वोल्टता में बिना कोई परिवर्तन किए परिपथ की विद्युत धारा को नियंत्रित करने के लिए उपयोग किए जानेवाले अवयव को परिवर्ती प्रतिरोध कहते हैं।

प्रश्न 18. प्रतिरोधकता क्या है ? इसका मात्रक क्या है ?
उत्तर- किसी पदार्थ की प्रतिरोधकता उसके 1 मीटर भुजा के घन द्वारा उत्पन्न प्रतिरोध होता है जबकि धारा सम्मुख फलकों के लंबवत् प्रवाहित होती है। इसकी माप (ओम ⨯ मीटर) में की जाती है। यदि L लंबाई के किसी तार का प्रतिरोध R और अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल A हो तो
R ∞ L

R ∞ 1/A

R = ρL/A    (जहाँ ρ = स्थिरांक = प्रतिरोधकता)

प्रश्न 19. विद्युत चालक और विद्युतरोधी पदार्थ किसे कहते हैं ?
उत्तर- विद्युत चालक पदार्थ जिन पदार्थों में विद्युत मुक्त रूप से प्रवाहित हो सकती है उन्हें विद्युत चालक कहते हैं। जैसे- ताँबा, चाँदी, ग्रेफाइट, लवणों का जलीय विलयन इत्यादि।
विद्युतरोधी पदार्थ जिन पदार्थों में विद्युत प्रवाह आसानी से नहीं होता है उन्हें विद्युतरोधी पदार्थ कहते हैं। जैसे- रबड़, काँच, प्लास्टिक, पोर्सिलेन इत्यादि।

प्रश्न 20. अर्धचालक किसे कहते हैं ?
उत्तर- वैसे पदार्थ, जिसमें सामान्य ताप पर कुछ मुक्त इलेक्ट्रॉन होते हैं। कम विद्युत चालकता होने के कारण इस तरह के पदार्थों से होकर कुछ विद्युत प्रवाहित
होती है। जैसे- सिलिकॉन, जर्मेनियम इत्यादि ।

प्रश्न 21. अतिचालक किसे कहते हैं ?
उत्तर- वैसे पदार्थ जिनमें अति निम्न ताप पर बिना किसी प्रतिरोध के विद्युत का गमन होता है अतिचालक कहलाता है। जैसे- शीशा, जिंक इत्यादि ।

प्रश्न 22. विद्युत लैपों के तंतुओं के निर्माण में प्रायः एकमात्र टंगस्टन का ही उपयोग क्यों किया जाता है ?
उत्तर- इसके निम्नांकित कारण है-
(i) उच्च प्रतिरोधकता (5.2×10⁻⁸),

(ii) अधिक प्रकाश,

(iii) उच्च गलनांक (3380°C).

(iv) उच्च ताप पर ऑक्सीकृत नहीं होता है।

प्रश्न 23. समान पदार्थ के दो तारों में यदि एक पतला तथा दूसरा मोटा हो, तो इनमें से किसमें विद्युत धारा आसानी से प्रवाहित होगी, जबकि उन्हें समान विद्युत स्रोत से संयोजित किया जाता है ? क्यों ?
उत्तर- किसी चालक का प्रतिरोध उसकी अनुप्रस्थ काट के क्षेत्रफल के व्युत्क्रमानुपाती होता है। अतः मोटे तार का प्रतिरोध, पतले तार की अपेक्षा कम होता है। इसलिए मोटे तार में विद्युत धारा आसानी से प्रवाहित होगी, जबकि उन्हें समान विद्युत स्रोत से संयोजित किया जाता है।

प्रश्न 24. मान लें किसी वैद्युत अवयव के दो सिरों के बीच विभवांतर को उसके पूर्व के विभवांतर की तुलना में घटाकर आधा कर देने पर भी उसका प्रतिरोध नियत रहता है। तब उस अवयव से प्रवाहित होनेवाली विद्युत धारा में क्या परिवर्तन होगा ?
उत्तर- हम जानते हैं कि V ∞ I

अतः विभवांतर को उसके पूर्व के विभवांतर की तुलना में आधा कर देने से प्रवाहित होनेवाली विद्युत धारा भी आधी हो जाती है।

प्रश्न 25. विद्युत टोस्टर तथा विद्युत इस्तरियों के तापन अवयव शुद्ध धातु के न बनाकर मिश्रधातु के क्यों बनाए जाते हैं ?
उत्तर- मिश्रधातुओं की प्रतिरोधकता शुद्ध धातुओं की अपेक्षा अधिक होती है और इनका गलनांक अत्यधिक उच्च होता है। ताप में परिवर्तन से प्रतिरोधकता में परिवर्तन की दर अपेक्षाकृत कम होती है। अतः उच्च ताप पर इनका शीघ्र ही ऑक्सीकरण नहीं होता। इस कारण इनका उपयोग इस्तरी, टोस्टर आदि सामान्य विद्युत तापन युक्तियों में होता है।

प्रश्न 26. घरों में प्रकाश करने के लिए श्रेणी संबद्ध व्यवस्था क्यों उपयुक्त नहीं होती?
उत्तर- घर में बल्ब या ट्यूबलाइट को श्रेणी क्रम में जोड़ने से समतुल्य प्रतिरोध बहुत अधिक हो जाता है। फलस्वरूप परिपथ में बहने वाली धारा का मान घट जाता है। इसके अतिरिक्त परिपथ के किसी एक जगह भंग हो जाने से सम्पूर्ण परिपथ भंग हो जाता है, तथा विद्युत का प्रवाह बंद हो जाता है।

प्रश्न 27. श्रेणीक्रम में संयोजित करने के स्थान पर वैद्युत युक्तियों को पार्श्वक्रम में संयोजित करने के क्या लाभ हैं ?
उत्तर- (i) पार्श्वक्रम में संयोजित विद्युत उपकरण में से कोई उपकरण फ्यूज हो जाने पर अन्य उपकरणों का कार्य इससे बाधित नहीं होता है।

(ii) प्रत्येक उपकरण अपनी आवश्यकता के अनुसार धारा ग्रहण करते हैं, फलस्वरूप वे अच्छी तरह से कार्य करते हैं।

प्रश्न 28. घरेलू विद्युत परिपथों में श्रेणीक्रम संयोजन का उपयोग क्यों नहीं किया जाता है ?
उत्तर- श्रेणीक्रम में समान विद्युत धारा, सभी उपकरणों में प्रवाहित होती है। श्रेणीक्रम से अधिक उपकरण लगाने से धीरे-धीरे धारा का मान घटता जाता है और कुल प्रतिरोध बहुत अधिक हो जाता है। ऐसी स्थिति में प्रत्येक उपकरण के सिरों पर विभवांतर भिन्न होता है। श्रेणीक्रम में जब परिपथ का एक अवयव कार्य करना
बंद कर देता है, तो परिपथ टूट जाता है और अन्य कोई अवयव कार्य नहीं कर पाता है।

प्रश्न 29. जूल का तापन नियम को लिखें।
अथवा,
विद्युत धारा के कारण उत्पन्न ऊष्मा जिन तीन कारकों पर निर्भर करता है उन्हें लिखें।
उत्तर- किसी प्रतिरोधक में उत्पन्न होने वाली ऊष्मा-
(i) दिए गए प्रतिरोधक में प्रवाहित होने वाली विद्युत धारा के वर्ग के अनुक्रमानुपाती होती है।
अर्थात् Q ∞ l².

(ii) दी गयी विद्युत धारा के लिए प्रतिरोधक के अनुक्रमानुपाती होती है।
अर्थात् Q ∞ R.

(ii) उस समय के अनुक्रमानुपाती होती है।
अर्थात् Q ∞ t.

प्रश्न 30. विद्युत धारा के तापीय प्रभाव से क्या समझते हैं ? इसके अनुप्रयोग को लिखें।
उत्तर- जब किसी तार से विद्युत धारा प्रवाहित होती है तो ऊष्मा उत्पन्न होती है और तार के ताप में वृद्धि हो जाती है इस घटना को विद्युत धारा का तापीय प्रभाव
कहते हैं।
अनुप्रयोग-
विद्युत इस्तरी, विद्युत टोस्टर, विद्युत तंदूर, विद्युत हीटर आदि।

प्रश्न 31. किसी विद्युत हीटर की डोरी क्यों उत्तप्त नहीं होती जबकि उसका तापन अवयव उत्तप्त हो जाता है ?
उत्तर- तापन अवयव का प्रतिरोध बहुत अधिक होता है। इसलिए जब विद्युत हीटर को कॉपर तार के साथ जोड़ा जाता है तो तापन अवयव उत्तप्त हो जाता है, क्योंकि इसका प्रतिरोध बहुत अधिक होता है, परंतु संयोजित कॉपर की डोरी उत्तप्त नहीं होती, क्योंकि कॉपर का प्रतिरोध बहुत ही कम होता है।

प्रश्न 32. विद्युत शक्ति किसे कहते हैं ? इसका SI मात्रक लिखें।
उत्तर- विद्युत ऊर्जा जिस दर से क्षय अथवा व्यय होती है उसे विद्युत शक्ति कहते हैं।

P = W/t = l²R

इसका SI मात्रक वाट होता है।

वाट = वोल्ट ⨯ ऐम्पियर

प्रश्न 33. विद्युत ऊर्जा को परिभाषित करें।
उत्तर- किसी चालक की विद्युत ऊर्जा वह ऊर्जा होती है, जो किसी चालक में विद्युत आवेश के प्रवाहित होने में व्यय होती है, विद्युत ऊर्जा कहलाती है। यह परिपथ में किसी विद्युत साधित्र द्वारा उत्पादित या व्यय की गई कुल ऊर्जा है। विद्युत ऊर्जा का व्यावसायिक मात्रक किलोवाट घंटा (kWh) होता है। 1kWh को एक यूनिट विद्युत ऊर्जा कहते हैं। kWh को बोर्ड ऑफ ट्रेड यूनिट (BOTU) भी कहा जाता है।

प्रश्न 34. 1KWh को जूल में व्यक्त करें।
उत्तर- 1KWh = 1000 वाट ⨯ 3600 सेकेंड

= 36 ⨯ 10⁵ वाट सेकेंड

= 3.6 ⨯ 10⁶ वाट सेकेंड

= 3.6 ⨯ 10⁶ जूल

प्रश्न 35. विद्युत तापन उपकरणों में नाइक्रोम तार का उपयोग क्यों किया जाता है ?
उत्तर- विद्युत-तापन उपकरणों में नाइक्रोम तार का उपयोग किया जाता है क्योंकि-
(i) इसका द्रवणांक उच्च होता है।

(ii) प्रतिरोधकता उच्च होता है।

(iii) उच्च ताप पर शीघ्र ऑक्सीकृत नहीं होता है।

प्रश्न 36. फ्यूज क्या है ? इसकी क्या विशेषताएँ हैं ?
उत्तर- फ्यूज एक सुरक्षा की युक्ति है। यह ऐसे तार का टुकड़ा होता है जिसके पदार्थ की प्रतिरोधकता बहुत अधिक होती है और उसकी गलनांक बहुत कम होता है। इसे परिपथ में श्रेणीक्रम में जोड़ा जाता है।
विशेषताएँ- यह विद्युत परिपथ को अतिभारण और लघुपथन के कारण नष्ट होने से बचाता है।

प्रश्न 37. किसी तार का प्रतिरोध उसकी अनुप्रस्थ काट के क्षेत्रफल में परिवर्तन के साथ किस प्रकार परिवर्तित होता है ?
उत्तर- परिच्छेद के क्षेत्रफल के बढ़ने पर तार का प्रतिरोध घटता है तथा परिच्छेद के क्षेत्रफल के घटने पर तार का प्रतिरोध बढ़ता है फलतः मोटे तार का प्रतिरोध कम तथा पतले तार का प्रतिरोध अधिक होता है अर्थात् R ∞ 1/A

प्रश्न 38. विद्युत संचारण के लिए प्रायः कॉपर तथा ऐलुमिनियम के तारों का उपयोग क्यों किया जाता है ?
उत्तर- कॉपर तथा ऐलुमिनियम विद्युत के अच्छे चालक हैं। कॉपर तथा ऐलुमिनियम की
प्रतिरोधकता कम । जब ताँबे तथा एलुमिनियम तारों में विद्युत प्रेषित होती है, तो ऊष्मा के रूप में शक्ति का हास बहुत कम होता है।

आंकिक प्रश्न

(A) प्रश्न 1. किसी विद्युत बल्ब के तंतु में से 0.5A विद्युत धारा 10 मिनट तक प्रवाहित होती है। विद्युत परिपथ से प्रवाहित विद्युत आवेश का परिमाण ज्ञात करें।
उत्तर- यहाँ, I = 0.5 A, t = 10 min = 600 s

Q = It = 0.5A × 600 s = 300 C Ans.

प्रश्न 2. 12 V विभवांतर के दो बिंदुओं के बीच 2 C आवेश को ले जाने में कितना कार्य किया जाता है ?
उत्तर- यहाँ, V = 12 वोल्ट, Q = 2 कूलॉम

W = VQ = 12 V × 2 C = 24 J Ans.

प्रश्न 3. 6V बैटरी से गुजरने वाले एक कूलॉम आवेश को कितनी ऊर्जा दी जाती है?
उत्तर- ऊर्जा = V × Q = 6V × 1C = 6 J Ans.

प्रश्न 4. (i) यदि किसी विद्युत बल्ब के तंतु का प्रतिरोध 1200Ω है, तो यह बल्ब 220V स्रोत से कितनी विद्युत धारा लेगा ?
(ii) यदि किसी विद्युत हीटर की कुंडली का प्रतिरोध 100Ω है, तो यह विद्युत हीटर 220V स्रोत से कितनी धारा लेगा ?
उत्तर– (i) V = 220V, R = 1200Ω

विद्युत धारा, I = 220/1200 = 0.18 A

(ii) V = 220 V, R = 100Ω

विद्युत धारा Ι = 220/100 = 2.2 A Ans.

प्रश्न 5. जब कोई विद्युत हीटर विद्युत स्रोत से 4A विद्युत धारा लेता है तब उसके टर्मिनलों के बीच विभवांतर 60V है। उस समय विद्युत हीटर कितनी विद्युत धारा लेगा जब विभवांतर को 120V तक बढ़ा दिया जाएगा ?
उत्तर– विभवांतर V = 60 V, विद्युत धारा I = 4 A

ओम के नियम के अनुसार, R = V/I = 60V/4A = 15Ω

जब विभवांतर बढ़ाकर 120V किया जाता है, तब

विद्युतधारा  I = V/R = 120 V/15Ω = 8 A  Ans.

(B) प्रश्न 1. किसी धातु के 1m लंबे तार का 20°C पर वैद्युत प्रतिरोध 26Ω है। यदि तार का व्यास 0.3 mm है, तो इस ताप पर धातु की वैद्युत प्रतिरोधकता क्या है ?
उत्तर– तार का प्रतिरोध, R = 26Ω; व्यास, d = 0.3 mm = 3 × 10⁻⁴ m;

तार की लंबाई, l = 1m

वैद्युत प्रतिरोधकता, ρ = RA/l = Rπd²/4l

= 26 ⨯ 22/7 ⨯ (3 ⨯ 10⁻⁴)²/4 ⨯ 1 = 184 ⨯  10⁻⁸ Ω m.

प्रश्न 2. 4Ω प्रतिरोध के किसी तार की मोटाई दोगुनी कर दी जाती है। तार का नया प्रतिरोध परिकलित करें।
उत्तर– यहाँ, R = 4Ω

जब तार की मोटाई दोगुनी कर दी जाती है तो उसकी लंबाई आधी रह जाती है तथा तार की अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल दोगुना हो जाता है।
अर्थात् लंबाई l तथा अनुप्रस्थ काट के क्षेत्रफल A का तार लंबाई l/2 तथा अनुप्रस्थ काट के क्षेत्रफल 2A के तार में परिवर्तित हो जाता है।
R = ρ(l/A),    R₁ = ρ(l/2/2A)

यहाँ R₁ तार का नया प्रतिरोध है।

R₁/R = ρ(l/2/2A/ρ(l/A) = ρ(l/A) = 1/4

अतः R₁ = R/4 = 4Ω/4 = 1Ω

अतः तार का नया प्रतिरोध 1 Ω है।

 प्रश्न 3. किसी ताँबे के तार का व्यास 0.5 mm और प्रतिरोधकता 1.6 × 10⁻⁸ Ω m है। 10 ओम प्रतिरोध का प्रतिरोधक बनाने के लिए कितने लंबे तार की आवश्यकता होगी ?
उत्तर- r = 0.5/2 × 10⁻³ m = 0.25 × 10⁻³ m, ρ = 1.6 × 10⁻⁸ Ω m

तार का प्रतिरोध R = ρL/A = ρL/πr²

L = πr²R/ρ

= 3.14 × 0.25 × 0.25 ⨯ 10⁻³ ⨯ 10⁻³ ⨯ 10/1.6 ⨯ 10⁻⁸

= 1.96 ⨯ 10⁻⁶/1.6 ⨯ 10⁻⁸ = 122.60 m Ans.

प्रश्न 4. एक चालक का प्रतिरोध 440 Ω है। यदि इसे 110V के स्रोत से जोड़ा जाय तो उसमें कितनी धारा प्रवाहित होगी ?
उत्तर– यहाँ, V = 110 V,

R = 440 Ω

विद्युत धारा (I) = V/R = 110/440 = 1/4 = 0.25 A Ans.

(C) प्रश्न 1. 35 Ω, 4Ω तथा 6Ω के तीन प्रतिरोधों को श्रेणीक्रम संयोजन में तथा पार्श्वक्रम संयोजन में जोड़ा गया है। समतुल्य प्रतिरोध की गणना करें।
उत्तर– श्रेणीक्रम संयोजन में,

R = R₁ + R₂ + R₃ = 3 + 4 + 6 = 13 Ω

पार्श्वक्रम संयोजन में,

1/R = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃ = 1/3 + 1/4 + 1/6 = 4 + 3 + 2/12 = 9/12
 
R = 12/9 = 4/3 Ω Ans.

प्रश्न 2. 4 Ω एवं 16 Ω के दो प्रतिरोधों को पार्श्वक्रम में संयोजित किया जाता है। समतुल्य प्रतिरोध की गणना करें।
उत्तर – 1/R = 1/R + 1/R = 1/4 + 1/16 = 4+1/16 = 5/16

.:  R = 16/5 Ω Ans.


प्रश्न 3. 5 Ω एवं 20 Ω के प्रतिरोधों को पार्श्वक्रम में जोड़ने पर समतुल्य प्रतिरोध की गणना करें।
उत्तर– 1/R = 1/R₁ + 1/R₂ = 1/5 + 1/20 = 4 + 1/20 = 5/20 = 1/4

.:  R = 4 Ω Ans.

प्रश्न 4. 2 Ω ,3 Ω तथा 6 Ω के तीन प्रतिरोधकों को किस प्रकार संयोजित करेंगे कि संयोजन का कुल प्रतिरोध (i) 4 Ω , (ii) 1 Ω , (iii) 11 Ω हो ?
उत्तर- (i) पहले 3 Ω तथा 6 Ω के प्रतिरोधकों का पार्श्वक्रम में जोड़ेंगे-

1/R = 1/R₁ + 1/R₂ 1/3 + 1/6 = 2 + 1/6 = 3/6

R = 6/3 Ω = 2 Ω

अब इस प्रकार प्राप्त 2 Ω को 2 Ω के प्रतिरोधक को श्रेणीक्रम में जोड़ेंगे।

तब समतुल्य प्रतिरोधक = 2 Ω + 2 Ω = 4 Ω

(ii) तीनों प्रतिरोधकों को पार्श्वक्रम में जोड़ने पर,
1/Rp = 1/2 + 1/3 + 1/6 = 3 + 2 + 1/6 = 6/6

 Rp = 6/6 = 1 Ω

(iii) तीनों प्रतिरोधकों को श्रेणीक्रम में जोड़ने पर,

R = R₁ + R₂ + R₃= 2 Ω + 3 Ω + 6 Ω = 11 Ω

प्रश्न 5. 4 Ω, 8 Ω, 12 Ω तथा 24 Ω प्रतिरोध की चार कुंडलियों को इस प्रकार संयोजित करें कि संयोजन से (i) अधिकतम (48 Ω), (ii) निम्नतम ( 2 Ω) प्रतिरोध प्राप्त हो सके।
उत्तर – (i) अधिकतम प्रतिरोध प्राप्त करने के लिए प्रतिरोधों में कुंडलियों को श्रेणीक्रम में जोड़ते हैं।

R = R₁ + R₂ + R₃ + R₄ = 4 Ω + 8 Ω +12 Ω + 24 Ω = 48 Ω

(ii) निम्नतम प्रतिरोध प्राप्त करने के लिए प्रतिरोधों की कुंडलियों को पार्श्वक्रम में जोड़ते हैं।

1/R = 1/R + 1/R + 1/R + 1/R = 1/4 + 1/8 + 1/12 + 1/24 = 6 + 3 + 2 + 1/24 = 12/24

R = 24/12 = 2 Ω

प्रश्न 6. किसी परिपथ में 10 ओम, 30 ओम तथा 40 ओम का तीन प्रतिरोध 12 वोल्ट की बैट्री से समांतर क्रम में संयोजित किया गया है। कुल प्रतिरोध तथा परिपथ में प्रवाहित कुल धारा परिकलित करें।
उत्तर– माना समांतर क्रम में समतुल्य प्रतिरोध R है।

.:  1/R = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃ = 1/10 + 1/30 + 1/40 = 12 + 4 + 3/120 = 19/120

.:  R = 120/19

V = IR

.:  I = V/R = V × 1/R = 12 × 19/120 = 19/10 A

अतः प्रवाहित कुल धारा = 1.9 A Ans.

प्रश्न 7. जब (i) 1 Ω तथा 10⁶ Ω , (ii) 1 Ω , 10³ Ω तथा 10⁶ Ω के प्रतिरोध पार्श्वक्रम में संयोजित किए जाते हैं तो इनके तुल्य प्रतिरोध के संबंध में आप क्या निर्णय करेंगे ?
उत्तर– (i) यहाँ, R₁ = 1Ω , R₂ = 10⁶ Ω

.: पार्श्वक्रम में संयोजित करने पर,

1/Rp = 1/R₁ + 1/R₂

⇒ 1/Rp = 1/1 + 1/1000000

⇒ 1/Rp = 1000000+1/1000000 = 1000001/1000000

⇒ Rp = 1000000/1000001 =  0.999999 Ω

अतः तुल्य प्रतिरोध 1 Ω से कम है।

(ii) यहाँ, R₁ = 1 Ω , R₂ = 10³ Ω , R₃ = 10⁶ Ω

.:  पार्श्वक्रम में संयोजित करने पर,

1/Rp = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃

⇒1/Rp = 1/1 + 1/1000 + 1/1000000

⇒ 1/Rp = 1000000 + 1000 + 1/1000000 = 1001001/1000000

⇒ Rp = 1000000/1001001 = 0.999 Ω

अतः तुल्य प्रतिरोध 1 Ω से कम है।

प्रश्न 8. 100 Ω का एक विद्युत लैम्प, 50 Ω का एक विद्युत टोस्टर तथा 500 Ω का एक जल फिल्टर 220V के विद्युत स्रोत से पार्श्वक्रम में संयोजित है। उस विद्युत इस्तरी का प्रतिरोध क्या है जिसे यदि समान स्रोत के साथ संयोजित कर दें तो वह उतनी ही विद्युत धारा लेती है जितनी तीनों युक्तियाँ लेती हैं। यह भी ज्ञात करें कि इस विद्युत इस्तरी से कितनी विद्युत धारा प्रवाहित होती है।

उत्तर– 1/Rp = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃ = 1/100 + 1/50 + 1/500 = 5 + 10 + 1/500 = 16/500

Rp = 500/16 = 31.25 Ω

अब, R = V/I

  I = V/R = 220V/31.25 Ω = 7.04A Ans.

प्रश्न 9. यह दर्शाएँ कि आप 6 Ω प्रतिरोध के तीन प्रतिरोधकों को किस प्रकार संयोजित करेंगे कि प्राप्त संयोजन का प्रतिरोध (i) 9 Ω , (ii) 4 Ω (iii) 18 Ω , (iv) 2 Ω हो।
उत्तर– (i) पहले 6 Ω प्रतिरोध के दो प्रतिरोधकों को पार्श्वक्रम में जोड़ने पर,
1/R = 1/R₁ + 1/R₂ = 1/6 + 1/6 = 1 + 1/6 = 2/6

 R = 6/2 = 3 Ω

अब इस समतुल्य प्रतिरोधक को एक 6 Ω के प्रतिरोधक के साथ श्रेणीक्रम में जोड़ने पर-
Rs = R + R₃ = 3 Ω +6 Ω = 9 Ω Ans.

(ii) पहले दो प्रतिरोधकों को श्रेणीक्रम में जोड़ने परए
R = R₁ + R₂ = 6 Ω + 6 Ω =12 Ω
इस समतुल्य प्रतिरोधक (12 Ω ) को तीसरे प्रतिरोधक (6 Ω ) के साथ पार्श्व क्रम में जोड़ने पर-

1/Rp = 1/R + 1/R₃ = 1/12 + 1/6 = 1 + 2/12 = 3/12 = 12/3

 Rp = 4 Ω Ans.

(iii) तीनों प्रतिरोधकों को श्रेणीक्रम में जोड़ने पर,

R = R₁ + R₂ + R₃ = 6 Ω +6 Ω + 6 Ω = 18 Ω Ans.

(iv) तीनों प्रतिरोधकों को पार्श्व क्रम में जोड़ने पर,

1/R = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃ = 1/6 + 1/6 + 1/6 = 1 + 1 + 1/6 = 3/6 = 1/2

⇒ R = 2 Ω Ans. 

प्रश्न 10. दो प्रतिरोधकों जिनके मान 2 Ω और 4 Ω है, श्रेणीक्रम में जुड़े हैं। इनमें एक बैटरी जोड़ी जाती है जो 6V की है। बताएँ कि विद्युत परिपथ कितनी धारा प्रवाहित होगी ?
उत्तर– श्रेणीक्रम में, R = R₁ + R₂ = 2 + 4 = 6 Ω, V = 6 V

चूँकि, I = V/R = 6/6 = 1A Ans.

प्रश्न 11. परिपथ आरेख में R₁, R₂ और R₃ तीन प्रतिरोधक जिनके मान क्रमशः 5 Ω , 10 Ω तथा 15 Ω हैं को 12 बोल्ट बैटरी के साथ जोड़ते हैं, तो परिकलित करें-
(i) परिपथ में कुल प्रवाहित धारा ।
(ii) परिपथ का कुल प्रतिरोध।
उत्तर- (i) 5 Ω प्रतिरोधक में प्रवाहित धारा  I₁ = V/R₁ = 12/5 = 2.4 A


10 Ω प्रतिरोधक में प्रवाहित धारा I₂ = V/R₂ = 12/10 = 1.2A

15 Ω प्रतिरोधक में प्रवाहित धारा I₃ = V/R₃ = 12/15 = 0.8 A

परिपथ में कुल प्रवाहित धारा I = I₁ + I₂ + I₃ = 2.4 + 1.2 + 0.8 = 4.4 A Ans.

(ii) I/R = I/R₁ + I/R₂ + I/R₃ = 1/5 + 1/10 + 1/15 = 6 + 3 + 2/30 = 11/30

R = 30/11 Ω = 2.7 Ω Ans.

प्रश्न 12. निम्न विद्युत परिपथ में परिकलित करें-
(i) प्रत्येक प्रतिरोधक से प्रवाहित विद्युत धारा,
(ii) परिपथ में प्रवाहित कुल विद्युत धारा,
(iii) परिपथ का कुल प्रतिरोध।
उत्तर– (i) 5 Ω के प्रतिरोध से प्रवाहित विद्युत धारा-

V = 12 तथा R₁ = 5 Ω

I₁ = V/R₁ = 12/5 = = 2.4A


10 Ω के प्रतिरोध से प्रवाहित विद्युत धारा-
V = 12 तथा R₂ = 10 Ω

I₂ = V/R₂  = 12/10 = 1.2 A

30 Ω के प्रतिरोध से प्रवाहित विद्युत धारा-
V = 12 तथा R₃ = 30 Ω

I₃ = V/R₃ = 12/30 = 0.4 A

(ii) कुल विद्युत धारा-
I = I₁ + I₂ + I₃ = 2.4 + 1.2 + 0.4 = 4 A

(iii) कुल प्रतिरोध-
1/Rp = 1/5 + 1/10 + 1/30 = 6+3+1/30 = 10/30 = 1/3

प्रश्न 13. एक विद्युत लैम्प जिसका प्रतिरोध 20 Ω है, तथा एक 4 Ω प्रतिरोध का चालक 6V की बैटरी से चित्रानुसार संयोजित हैं। (i) परिपथ का कुल प्रतिरोध, (ii) परिपथ में प्रवाहित विद्युत धारा तथा (iii) विद्युत लैम्प तथा चालक के सिरों के बीच विभवांतर परिकलित करें।


उत्तर- विद्युत लैम्प का प्रतिरोध R₁ = 20 Ω

श्रेणीक्रम में संयोजित चालक का प्रतिरोध R₂ = 4 Ω

(i) परिपथ में कुल प्रतिरोध R=R₁ + R₂

Rs = 20 Ω + 4 Ω = 24 Ω Ans.

(ii) बैटरी के दो टर्मिनलों के बीच कुल विभवांतर V = 6V

अब, ओम के नियमानुसार परिपथ में प्रवाहित कुल विद्युत धारा I = V/Rs = 6V/24 Ω = 0.25A Ans.

(iii) विद्युत लैम्प के सिरों के बीच विभवांतर = 20 Ω × 0.25A = 5V Ans.

चालक के सिरों के बीच विभवांतर = 4Ω ⨯ 0.25A = 1V Ans.

प्रश्न 14. चित्र के परिपथ आरेख में मान लें प्रतिरोधकों R₁, R₂ तथा R₃ के मान क्रमशः 5 Ω,10 Ω तथा 30 Ω हैं तथा इन्हें 12V की बैटरी से संयोजित किया गया है। (i) प्रत्येक प्रतिरोधक से प्रवाहित विद्युत धारा, (ii) परिपथ में प्रवाहित कुल विद्युत धारा तथा (iii) परिपथ का कुल प्रतिरोध परिकलित करें।


उत्तर– R₁ = 5Ω , R₂ = 10 Ω तथा R₃ = 30 Ω

बैटरी के सिरों पर विभवांतर, V = 12 V

(i) R₁ से प्रवाहित विद्युत धारा I₁ = V/R₁ = 12V/5 Ω = 2.4 A  Ans.

R₂ से प्रवाहित विद्युत धारा, I₂ = V/R₂ = 12V/10 Ω = 1.2 A  Ans.

R₃ से प्रवाहित विद्युत धारा I₃ = V/R₃ = 12V/30 Ω = 0.4 A  Ans.

(ii) परिपथ से प्रवाहित कुल धारा,

I = I₁ + I₂ + I₃ = 2.4 + 1.2 + 0.4 = 4 A Ans.

(iii) कुल प्रतिरोध Rp का मान

1/Rp = 1/R₁+ 1/R₂ + 1/R₃ = 1/5 + 1/10 + 1/30 = 6 + 3 + 1/30 = 10/30 = 1/3

अतः कुल प्रतिरोध, Rp = 3 Ω Ans.

प्रश्न 15. चित्र में R₁ = 10 Ω , R₂ = 40Ω , R₃ = 30 Ω, R₄ = 20Ω , R₅ = 60 Ω है तथा प्रतिरोधकों के इस विन्यास को 12V से संयोजित किया जाता है।
(i) परिपथ में कुल प्रतिरोध तथा (ii) परिपथ में प्रवाहित कुल विद्युत धारा परिकलित करें।
उत्तर– (i) R₁ तथा R₂ का समतुल्य प्रतिरोध = R'

1/R' = 1/10 + 1/40 = 4+1/40 = 5/40 = 1/8

⇒ R' = 8 Ω


इसी प्रकार,
1/R" = 1/30 + 1/20 + 1/60

= 2+3+1/60= 6/60 = 1/10 Ω

⇒ R" = 10 Ω

इस प्रकार, कुल प्रतिरोध, R = R' + R" = 8 Ω + 10Ω = 18 Ω Ans.

(ii) परिपथ की कुल धारा, I = V/R = 12V/18Ω = 0.67 A Ans.

(D) प्रश्न 1. किसी विद्युत इस्तरी में अधिकतम तापन दर के लिए 840 W की दर से ऊर्जा उपभुक्त होती है तथा 360 W की दर से उस समय उपभुक्त होती है, जब तापन की दर निम्नतम है। यदि विद्युत स्रोत की वोल्टता 220 V है तो दोनों प्रकरणों में विद्युत धारा तथा प्रतिरोध के मान परिकलित करें।
उत्तर–  शक्ति, P = VI, विद्युत धारा, I = P/V

(i) जब तापन की दर अधिकतम है, तब I = 840W/200V = 3.82A 

तथा विद्युत इस्तरी का प्रतिरोध R = V/I = 220V/3.82 A = 57.60 Ω

(ii) जब तापन की दर निम्नतम है, तब I = 360W/220V = 1.64 A

तथा विद्युत इस्तरी का प्रतिरोध R = V/I = 220V/1.64A = 134.15 Ω

प्रश्न 2. किसी 4 Ω प्रतिरोधक से प्रति सेकंड 100J ऊष्मा उत्पन्न हो रही है। प्रतिरोधक के सिरों पर विभवांतर ज्ञात करें।
उत्तर- H = 100J, R = 4Ω , t=1s, V= ?
चूँकि,  H = I² Rt

⇒ 100 = I² × 4 × 1

⇒ I² = 100/4 = 25

⇒ I = √25 = 5 A

V = IR = 5 A × 4 Ω = 20V Ans.

प्रश्न 3. एक घण्टे में 50 V विभवांतर से 96,000 कूलॉम आवेश को स्थानांतरित करने में उत्पन्न ऊष्मा परिकलित करें।
उत्तर– किया गया कार्य, W = वक़्त

या,  उत्पन्न ऊष्मा, H = 50V × 96,000 C = 4800,000J Ans.

प्रश्न 4. 20 Ω प्रतिरोध की कोई विद्युत इस्तरी 5A विद्युत धारा लेती है। 30s में उत्पन्न ऊष्मा को परिकलित करें।
उत्तर– R = 20Ω , I = 5A, t= 30s

H = I² Rt = (5)² × 20 × 30 = 25 × 20 × 30 = 15,000J Ans.

प्रश्न 5. कोई विद्युत बल्ब 220V के जनित्र से संयोजित है। यदि बल्ब से 0.50 A विद्युत धारा प्रवाहित होती है तो बल्ब की शक्ति क्या है ?
उत्तर- P = VI = 220V × 0.50A = 110 J/s = 110W Ans.

प्रश्न 6. एक बल्ब पर 200 V – 100W अंकित है-
(i) उस बल्ब का प्रतिरोध ज्ञात करें।
(ii) ऐसे ही 5 बल्ब 4 घंटे तक जलाए जाते हैं। उपभुक्त विद्युत ऊर्जा का मान ज्ञात करें।
(iii) ₹3 प्रति यूनिट की दर से बिल का भुगतान क्या करना होगा ?
उत्तर– (i) यहाँ, V = 200 V, W = 100W, R = ?
.:  सूत्र, W = V × I से,

100 = 200 × I

I= 100/200 = 1/2 A

.:  सूत्र, R= V/I से

R = 200/1/2 = 200 × 2/1 = 400 Ω Ans.

(ii) 5 बल्ब द्वारा 4 घंटे में उपभुक्त विद्युत ऊर्जा = 5 × 4 × 100Wh = 2000 Wh = 2000/1000 KWh = 2KWh Ans.

(iii) बिल का भुगतान = 2 × 3 = ₹6 Ans. [ 1kWh = 1 यूनिट]

प्रश्न 7. 100 वाट का एक बल्ब प्रतिदिन 2 घंटे जलता है और 80 वाट के 4 बल्ब प्रतिदिन 4 घंटे जलते हैं 30 दिन में उपभुक्त ऊर्जा ज्ञात करें। उपभोग की गई ऊर्जा की लागत ₹3.50 प्रति यूनिट की दर से ज्ञात करें।
उत्तर– 100 वाट के एक बल्ब प्रतिदिन 2 घंटे जलने पर उपभुक्त विद्युत ऊर्जा = 100 × 2 = 200 Wh

80 वाट के 4 बल्ब प्रतिदिन 4 घंटे जलने पर उपभुक्त विद्युत ऊर्जा = 80 × 4 × 4 Wh = 1280 Wh

1 दिन में कुल उपभुक्त विद्युत ऊर्जा = (200 + 1280) = 1480

30 दिन में कुल उपभुक्त विद्युत ऊर्जा = 1480 × 30 = 44400 = 44400/1000

= 44.4k Wh = 44.4 unit [1 k Wh = 1 यूनिट ]

एक यूनिट पर लागत = 3.50

44.4 यूनिट पर लागत = 3.50 × 44.4 = ₹155.40 Ans.

प्रश्न 8. 400 W अनुमत का कोई विद्युत रेफ्रिजरेटर 8 घंटे / दिन चलाया जाता है। ₹3.00 प्रति kWh की दर से इसे 30 दिन तक चलाने के लिए ऊर्जा का मूल्य क्या है ?
उत्तर– 30 दिन में रेफ्रिजरेटर द्वारा उपभुक्त कुल ऊर्जा = 400W × 8.0 घंटे / दिन × 30 दिन = 96000 W h = 96kWh

इस प्रकार 30 दिन तक रेफ्रिजरेटर को चलाने में उपभुक्त कुल ऊर्जा का मूल्य = 96kWh × 3.00kW h = ₹288.00 Ans.

प्रश्न 9. कोई विद्युत मोटर 220 V के विद्युत स्रोत से 5.0A विद्युत धारा लेता है। मोटर की शक्ति निर्धारित करें तथा 2 घंटे मे मोटर द्वारा उपभुक्त ऊर्जा परिकलित करें।
उत्तर– V = 220 V, I = 5.0A

शक्ति P = VI = 220 × 5.0 = 1100 J/S = 1100 W

2 घंटे में मोटर द्वारा उपभुक्त ऊर्जा P × t = 1100 W × 2 घंटे = 1100W × 7200 S = 79,20,000 J

प्रश्न 10. किसी अज्ञात प्रतिरोध के प्रतिरोधक के सिरों से 12V की बैटरी को संयोजित करने पर परिपथ में 2.5mA विद्युत धारा प्रवाहित होती है। प्रतिरोधक का प्रतिरोध परिकलित करें।
उत्तर– V = 12V,  A = 2.5mA = 2.5 × 10⁻³ A
R = V/I = 12/2.5×10⁻³ = 4.8 ⨯ 10³ Ω = 4800 Ω   Ans.

प्रश्न 11. 9V की किसी बैटरी को 0.2Ω, 0.3Ω , 0.4Ω, 0.5Ω तथा 12 Ω के प्रतिरोधकों के साथ श्रेणीक्रम में संयोजित किया जाता है। 12 Ω के प्रतिरोधकों से कितनी विद्युत धारा प्रवाहित होगी ?
उत्तर– श्रेणीक्रम में कुल प्रतिरोध = 0.2 + 0.3+0.4+ 0.5 + 12 = 13.4 Ω

विद्युत धारा, I = V/R = 9V/13.4 Ω = 0.67 A

जब प्रतिरोधक श्रेणीक्रम में संयोजित होते हैं, तो परिपथ प्रत्येक भाग में धारा एक समान होती है।

प्रश्न 12. 176 Ω प्रतिरोध के कितने प्रतिरोधकों को पार्श्वक्रम में संयोजित करें कि 220 V के विद्युत स्रोत से संयोजन से 5A विद्युत धारा प्रवाहित हो ?
उत्तर– R = V/I = 220 V/ 5A = 44 Ω

जब n प्रतिरोधक को पार्श्वक्रम में संयोजित किया जाए तो, 1/Rp = n/R

⇒ 1/44 = n/176

⇒ 44 n = 176

⇒ n = 176/44 = 4

अतः 4 प्रतिरोधकों की आवश्यकता होगी।

प्रश्न 13. 8 Ω प्रतिरोध का कोई विद्युत हीटर विद्युत मेंस से 2 घंटे तक 15A विद्युत धारा लेता है। हीटर में उत्पन्न ऊष्मा की दर परिकलित करें।
उत्तर- ऊष्मा, H = I² Rt

I = 15A, R= 8Ω , t = 2h

हीटर में उत्पन्न ऊष्मा की दर शक्ति के बराबर है।

इसलिए,
P = 1²R = (15)² × 8 = 1800 ⁻¹ Ans.

प्रश्न 14. 220V की विद्युत लाइन पर उपयोग किए जाने वाले बहुत से बल्बों का अनुमतांक 10W है। यदि 220 V लाइन से अनुमत अधिकतम विद्युतधारा 5A है, तो इस लाइन के दो तारों के बीच कितने बल्ब पार्श्वक्रम में संयोजित किए जा सकते हैं ?
उत्तर– I = P/V = 10/220 = 1/22 A

R = V/I = 220/1/22 = 220 × 22 = 4840 Ω

तथा Rp = V/I = 220/5 = 44 Ω

1/Rp = n/R

⇒ 1/44 = n/4840

⇒ 44n = 4840

⇒ n = 4840/44

⇒ n = 110

110 बल्ब पार्श्वक्रम में संयोजित किए जा सकते हैं।

प्रश्न 15. किसी विद्युत भट्टी की तप्त प्लेट दो प्रतिरोधक कुंडलियों A तथा B की बनी है, जिनमें प्रत्येक का प्रतिरोध 242 है तथा इन्हें पृथक्-पृथक्, श्रेणीक्रम में अथवा पार्श्वक्रम में संयोजित करके उपयोग किया जाता है। यदि यह भट्टी 220V विद्युत लाइन से संयोजित की जाती है तो तीनों प्रकरणों में प्रवाहित विद्युत धाराएँ क्या हैं ?
उत्तर– (i) जब प्रतिरोधक कुंडलियाँ A तथा B पार्श्वक्रम में संयोजित है-
1/Rp = 1/24 + 1/24 = 1+1/24 = 2/24

Rp = 24/2 = 12 Ω

I = 220 V/12Ω = 18.3 A

(ii) जब प्रतिरोधक कुंडलियाँ A तथा B श्रेणीक्रम में संयोजित है-
Rs = R₁ + R₂ = 24Ω + 24Ω = 48Ω

I = V/R = 220 V/48 Ω = 4.58 A

(iii) जब एक प्रतिरोधक संयोजित है-
I = V/R = 220V/24Ω = 9.2A

प्रश्न 16. निम्नांकित परिपथों में प्रत्येक में 2 Ω प्रतिरोधक द्वारा उपभुक्त शक्तियों की तुलना करें-
(i) 6V बैटरी से संयोजित 1Ω तथा 2Ω श्रेणीक्रम संयोजन,
(ii) 4V बैटरी से संयोजित 12 Ω तथा 2Ω का पार्श्वक्रम संयोजन।
उत्तर– R₁ = 1Ω ,  R₂ = 2Ω,

Rs = R₁ + R₂ = 1Ω + 2Ω = 3Ω

धारा, I = V/R = 6V/3 Ω = 2A

(i) 2 Ω प्रतिरोध में उपयोग की शक्ति = I² R = (2)² × 2 = 8 W

1/Rp = 1/R+1/R = 1/12+1/2 = 1+6/12 = 7/12

Rp = 12/7

(ii) 2Ω प्रतिरोधात्मक में उपयोग की शक्ति = V²/R = 4⨯4/2 = 4⨯2 = 8 W Ans.

प्रश्न 17. दो विद्युत लैम्प जिनमें से एक का अनुमतांक 100W, 220V तथा दूसरे का 60W, 220V है। विद्युत मेन्स के साथ पार्श्वक्रम में संयोजित है। यदि विद्युत आपूर्ति की वोल्टता 220V है तो विद्युत मेन्स से कितनी धारा ली जाती है।
उत्तर– परिपथ में कुल शक्ति की खपत = 100 + 60 = 160W,

वोल्टता V = 220 V

लेकिन, शक्ति = VI

160 = 222 × I

I = 160/220

धारा, I = 0.727 A

प्रश्न 18. किसमें अधिक विद्युत ऊर्जा उपभुक्त होती है- 250W का TV सेट जो एक घण्टे तक चलाया जाता है अथवा 1200W का विद्युत हीटर जो 10 मिनट के लिए चलाया जाता है।
उत्तर– (i) E₁ = P × t = 250W × 1h = 250Wh

(ii) P = 1200W,

t = 10 min = 10/60h = 1/6h

E₂ = P ⨯ t 

= 1200 W ⨯ 1/6h = 200 Wh

250 W का TV सेट में अधिक ऊर्जा उपभुक्त होती है।

12. विद्युत

प्रश्न 1. ओम का नियम लिखें और इसका सत्यापन करें। अथवा किसी परिपथ के दो सिरों के बीच का विभवांतर V है। परिपथ में R प्रतिरोध जोड़ा गया है। यदि परिपथ में प्रवाहित धारा का मान । है, तो इन राशियों के बीच संबंध लिखें। यह संबंध किस नियम पर आधारित हैं ? संबंधित नियम को सत्यापित करें अथवा संबंध V = IR, जहाँ V= विभवांतर, R= प्रतिरोध एवं । = धारा, किस नियम पर आधारित है ? संबंधित नियम को लिखें एवं सत्यापित करें।
उत्तर- ओम का नियम- नियत ताप पर किसी चालक के सिरों के बीच का विभवांतर उसमें प्रवाहित धारा का समानुपाती होता है। अर्थात्
V∞I (जहाँ V= विभवांतर और I = धारा)

V=1R, (जहाँ R = नियतांक = प्रतिरोध)
R = V/I


चित्र- ओम के नियम के सत्यापन के लिए विद्युत परिपथ

सत्यापन– सर्वप्रथम परिपथ में बैट्री, परिवर्तनशील प्रतिरोध Rh (रियोस्टेट) और आमीटर को श्रेणीक्रम में जोड़ा जाता तथा वोल्टमीटर को समांतर क्रम में जोड़ा जाता है। जब कुँजी K पर डाट लगाते है तो परिपथ में धारा प्रवाहित होने लगती है। इस प्रकार प्रवाहित धारा I को आमीटर पर एवं विभवांतर V को वोल्टमीटर पर पढ़ लिया जाता है और V/I का मान ज्ञात कर लिया जाता है। अब रिथोस्टेट द्वारा धारा का मान बदल-बदल कर प्रयोग दुहराते हैं और प्रत्येक स्थिति में V/I का मान ज्ञात करते हैं तो पाते हैं कि V/I = नियतांक। इससे ओम के नियम की जाँच हो जाती है।
प्रयोग से प्राप्त आँकड़ों के आधार पर जब X-अक्ष पर V एवं Y-अक्ष पर I लेकर ग्राफ खींचते हैं, तो सरल रेखा प्राप्त होती है। इससे भी ओम के नियम की जाँच हो जाती है।


प्रश्न 2. श्रेणीक्रम संयोजन को परिभाषित करें। एक विद्युत परिपथ में तीन प्रतिरोधक जिनके प्रतिरोध क्रमश: R₁, R₂ तथा R₃ है, को श्रेणीक्रम में जोड़ा गया है विद्युत परिपथ का तुल्य प्रतिरोध ज्ञात करें। अथवा, श्रेणीक्रम संयोजन को समझाएँ एवं समतुल्य प्रतिरोध के लिए सूत्र स्थापित करें।
उत्तर- जब पहले प्रतिरोध का दूसरा छोर दूसरे के पहले छोर से तथा दूसरे का दूसरा छोर तीसरे के पहले छोर से जोड़ा जाता है, तो इस प्रकार के संयोजन श्रेणीक्रम संयोजन कहते हैं।
माना कि तीन प्रतिरोधक R₁, R₂ और R₃ को श्रेणीक्रम में जोड़ा गया है इनके बीच विभवान्तर V₁, V₂ एवं V₃ है तथा इनसे धारा I प्रवाहित होती है।
अतः ओम के नियम से,
V₁ = IR₁      ....(i)
V₂ = IR₂     ....(ii)
V₃ = IR₃     .....(iii) 


समीकरण (i), (ii) और (iii) को जोड़ने पर,
V₁+ V₂ + V₃ = IR₁ + IR₂ + IR₃

V = I(R₁ + R₂ + R₃) .....(iv) ( V = V₁ + V₂ + V₃)

यदि A और B के सिरों के बीच विभवांतर V एवं धारा I हो, तो ओम के नियम से,
V = IR     .........(v) 

समीकरण (iv) और (v) से,

IR = I(R₁ + R₂ + R₃)

R = R₁ + R₂ + R₃
ph
प्रतिरोधकों का श्रेणीक्रम समूहन

प्रश्न 3. पार्श्वक्रम संयोजन किसे कहते हैं ? प्रतिरोधकों R₁ R₂ तथा R₃ को पार्श्वक्रम में संयोजित करने पर समतुल्य प्रतिरोध का व्यंजक प्राप्त करें। अथवा, पार्श्व क्रम संयोजन को समझाएँ एवं समतुल्य प्रतिरोध के लिए सूत्र स्थापित करें। अथवा, एक स्विच बोर्ड में तीन स्विच लगे हैं जिसमें से प्रत्येक क्रमशः बल्ब, ट्यूबलाइट और पंखा के लिए हैं। सभी स्विचों को इस प्रकार जोड़ा गया है कि इन्हें अलग- अलग और एक साथ भी उपयोग किया जा सकता है। स्विच बोर्ड में स्विचों को किस क्रम में संयोजित किया जा सकता है। इस प्रकार के संयोजन के लिए समतुल्य प्रतिरोध का व्यंजक प्राप्त करें।
उत्तर- पार्श्वक्रम संयोजन- जब सभी प्रतिरोध के एक छोर को एक साथ तथा दूसरे छोर को एक साथ जोड़ा जाता हैं तो इस प्रकार के संयोजन को पावक्रम संयोजन कहते हैं।

माना परिपथ में तीन प्रतिरोधक R₁ R₂ एवं R₃ को समांतर क्रम में जोड़ा गया। है तथा इनके बीच धारा I₁ , I₂ और I₃ प्रवाहित होती है, तो मुख्य परिपथ में कुल धारा I = I₁+I₂+I₃

यदि प्रत्येक प्रतिरोधक के बीच विभवांतर V हो तो ओम के नियम से,
I₁ = V/R₁    ........(i) 

I₂ = V/R₂    ........(ii) 

I₃ = V/R₃     .........(iii) 


समीकरण (i), (ii) और (ii) को जोड़ने पर,
I₁ + I₂ + I₃ = V/R₁ + V/R₂ + V/R₃

I = V(1/R₁ + 1/R₂  + 1/R₃)   .....(iv)

यदि A एवं B के सिरों के बीच विभवांतर V एवं समतुल्य प्रतिरोध R हो, तो ओम के नियम से I = V/R   ..........(v) 

समीकरण (iv) और (v) से
V/R = V(1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃)

1/R = 1/R₁ + 1/R₂ + 1/R₃
Ph
प्रतिरोधकों का पार्श्वक्रम समूहन

प्रश्न 4. विद्युत धारा का तापीय प्रभाव से आप क्या समझते हैं ? किसी प्रतिरोधक में विद्युत धारा प्रवाहित पर उत्पन्न ऊष्मा ऊर्जा के लिए सूत्र लिखे।
उत्तर- विद्युत धारा के प्रवाह से किसी प्रतिरोधक या चालक में उष्मा उत्पन्न होने की घटना को विद्युत धारा का तापीय प्रभाव कहते हैं।

विभव की परिभाषा से स्पष्ट है, यदि किसी चालक के सिरों पर का विभवान्तर V वोल्ट हो, तो एक कूलॉम आवेश को एक सिरे से दूसरे सिरे तक जाने में किया गया कार्य W=V×1J इसी तरह यदि Q कूलॉम आवेश को एक सिरे से दूसरे सिरे तक जाने में किया गया कार्य W=V×QJ होगा।
.:   W =IR× Q      (V=IR)

IR × It                 ( Q=It)

W = I² Rt


यदि किया गया सम्पूर्ण कार्य ऊष्मा Q के रूप में परिणत हो और इसे Q से व्यक्त किया जाय तो
Q = PRt.

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